Highlightsडी ग्रैंडहोम का अंतरराष्ट्रीय करियर 10 साल से अधिक तक चला।सभी प्रारूपों में 115 खेलों में न्यूजीलैंड का प्रतिनिधित्व किया।सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन 41 रन देकर छह विकेट था, जो पाकिस्तान के खिलाफ किया था।
Colin de Grandhomme: न्यूजीलैंड के ऑलराउंडर कॉलिन डी ग्रैंडहोम ने अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट से संन्यास की घोषणा कर दी है। डी ग्रैंडहोम का अंतरराष्ट्रीय करियर 10 साल से अधिक तक चला और उन्होंने सभी प्रारूपों में 115 खेलों में न्यूजीलैंड का प्रतिनिधित्व किया।
डी ग्रैंडहोम ने न्यूजीलैंड की तरफ से 29 टेस्ट मैच खेले जिसमें उन्होंने 38.70 की औसत से 1432 रन बनाए। इसमें वेस्टइंडीज और दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ लगाए गए शतक भी शामिल हैं। इसके अलावा उन्होंने 32.95 की औसत से 49 विकेट भी लिए। उनका सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन 41 रन देकर छह विकेट था जो उन्होंने पाकिस्तान के खिलाफ किया था।
उन्होंने 45 वनडे मैचों में 742 रन बनाए और 30 विकेट लिए। डी ग्रैंडहोम न्यूजीलैंड की उस टीम का हिस्सा थे जो 2019 में आईसीसी वनडे विश्व कप के फाइनल में पहुंची थी। इस ऑलराउंडर ने 41 टी20 अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट मैच भी खेले जिनमें उन्होंने 505 रन बनाए और 12 विकेट हासिल किए।
कॉलिन डी ग्रैंडहोम ने अपने अंतरराष्ट्रीय करियर की शुरुआत जिम्बाब्वे के खिलाफ एक T20I के साथ की थी। डी ग्रैंडहोम का जन्म 1986 में हरारे में हुआ था और उन्होंने जिम्बाब्वे में प्रथम श्रेणी और लिस्ट ए में डेब्यू किया था। उन्होंने 2006 में ऑकलैंड जाने से पहले 2003-04 अंडर -19 विश्व कप में जिम्बाब्वे का प्रतिनिधित्व किया।
डी ग्रैंडहोम ने इस सप्ताह अपने फैसले को लेकर न्यूजीलैंड क्रिकेट से बातचीत की थी जो उन्हें केंद्रीय अनुबंध से मुक्त करने पर तैयार हो गया था। जिंबाब्वे में जन्मे डी ग्रैंडहोम ने कहा कि इस फैसले के पीछे उनकी चोट और तीनों प्रारूपों में बढ़ती प्रतिस्पर्धा के अलावा कई अन्य कारण हैं।
डी ग्रैंडहोम ने न्यूजीलैंड क्रिकेट के यहां जारी बयान में कहा, ‘‘मैं यह स्वीकार करता हूं कि मैं अब युवा नहीं होने जा रहा हूं और विशेषकर चोटों के कारण अभ्यास करना मुश्किल होता जा रहा है।’’ उन्होंने कहा,‘‘मेरे बच्चे बड़े हो रहे हैं और मैं क्रिकेट के बाद के अपने भविष्य पर ध्यान केंद्रित करने की कोशिश कर रहा हूं।
पिछले कुछ सप्ताहों से यह सब बातें मेरे दिमाग में चल रही थी।’’ डी ग्रैंडहोम ने कहा,‘‘ मैं बहुत भाग्यशाली हूं कि मुझे 2012 में पदार्पण करने के बाद न्यूजीलैंड की तरफ से खेलने का मौका मिला। मुझे अपने अंतरराष्ट्रीय करियर पर गर्व है लेकिन मुझे लगता है कि यह संन्यास लेने का सही समय है।’’